दोस्तों अब तक आप ने पढ़ा की कैसे आंटी ने मेरी और मेने आंटी की चुदाई की अब उसके आगे का भाग आप के सामने रख रहा हु…
थोड़ी देर में आंटी उठी और किंचन में चाय बनाने गयी जब तक में उठ कर फ्रेश हो गया और टीवी देखने लगा इतने में आंटी आई और बोली राज चाय पी लो मेने कहा आंटी में चाय नहीं पीता सिफ दूध पीता हु वो भी पेवर दूध आंटी समझ गयी और कहा इतना दूध पीलिया हे की दूध आने में टाइम लगेगा जब तक चाय पिलो मेने कहा ठीक हे मगर चाय आप पिलाओगे तो पी लुगा ओके आंटी हँस दी उनकी हँसी में भी जादू था उनके लाल होठ जिनका सारा रस में पी चूका हु और पीने का मन करता हे आंटी ने कप उठा के अपने हाथो से चाय पिलाने आई तो मेने कहा ऐसे नहीं आंटी कैसे मेने कहा थोड़ी चाय मुह्ह में लेकर फिर मुझे चाय पिलाओ आंटी ने मुह्ह में चाय लेकर मेरे मुह्ह से मिलकर चाय पिलाई और में उनके बूब्स दबा रहा था शायद मेरा चुदाई का भुखार उतरा नहीं था और चाय के साथ किसिंग भी चालू था आंटी और मुझे मस्ती बापस चालू होगई थी मगर ध्यान आया यदि में घर नहीं गया तो माँ यहाँ आसकती हे.. मेने आंटी को अलग किया और घर जाने का बोला आंटी भी बोली जब तक में नहा लेती हु मुझे आंटी की नहाने की बाद से वो दिन याद आया जो मेरी लाइफ में खुशीया लाया था। आंटी को मेने कहा चलो साथ नहाते हे।
फिर मेने और आंटी बाथरूम में गए और फवारे के नीचे नहाने लगे और एक दूसरे के अंगो को चूमना और चाटना चालू कर दिया। में आंटी के गले और कान और नाभि पर किस्स कर रहा था और आंटी आँख बद पानी तथा मेरी चुसाई का आनंद ले रही थी। उनकी नाभी को चूसते हुए चुद को चाटने लगा ऊपर से ये पानी आग का काम कर रहा था थोड़ी देर बाद मेने आंटी को कहा पीछे से चुद मारूँगा आंटी पीछे की तरफ घूम गयी मगर आंटी को क्या मालूम था की में आज चुद नहीं गांड मारुँगा मेने आंटी के दोनों हाथ पीछे से और पीछे से लंड को चुद के अंदर डॉल कर आगे पीछे करने लगा आंटी स्स्सस्सस्सआआआआआगगफग्ग्ग्ग्गफड़फस्स्थगफदर कर रही थी फिर मेने उनके हाथ छोरकर गांड को पानी से साफ करने लगा तो आंटी ने कहा ये क्या कर रहा हे। मेने कहा आंटी आप की गांड बहुत प्यारी हे इसे साफ और प्यार करना चाहता हु आंटी यस राज कर लो मगर तुम गांड मारने की सोच रहे तो वो मत करना मेने आजतक कभी गांड नहीं मरवाई मेने कहा ठीक हे। और गांड को चाटने लगा और उस पर किस्स करने लगा और दोनों हाथ से गांड को चोड़ी करके एक बार में पूरा लंड गांड में उतार दिया जिससे आंटी की चीख निकल गयी और कहने लगी निकाला लो राज बहुत दर्द हो रहा हे। मगर मेने कहाँ आंटी बस थोड़ा सा दर्द होगा और उनकी पीठ पर और गले पर किस्स करने लगा जिस्से आंटी का दर्द कुछ कम हुआ। फिर लंड को आगे पीछे करने लगा अब आंटी दर्द की जगह सीस सीस कर रही थी। उनको भी अब मजा आरहा था। और कह रही थी राज बहुत अछे और जोर से राज मुझे क्या मालूम था की गांड का इतना मजा आता हे .. आज दुने दोगुना मजा दे दिया और में उनके बूब्स निचोड़ रहा था। गांड मारते रहा पानी में चुदाई का मजा दूगना हो जाता हे मुझे और आंटी को पेलते हुए 25 मिनिट होगये थे फिर थोड़ी देर में आंटी का काम रस निकल गया और मेरा भी फिर हम नहाये और में तैयार होकर अपने घर आगया तो दोस्तों केसी लगी मेरी पहली कहानी मुझे मेल कर के जरूर बताना तब तक के लिए अलविदा दोस्तों। आपका दोस्त राज
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